तरवारा पुरानी बाजार समेत सिवान के सभी मस्जिदों से आने लगी आवाज, ए रब्बुल आलमीन मेरे गुनाहों को बख्श दे

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  • तरवारा पुरानी बाजार के जामा मस्जिद समेत जिले के सभी मस्जिदों में आज पूरी रात होगी इबादत
  • सभी मस्जिद सज धज कर हुआ तैयार
  • सिवान जिले के सभी मजार शरीफ रोशनी से हुए हैं जगमग

परवेज अख्तर/सिवान:
शब-ए-बारात के इस रात की इस्लाम धर्म में काफी अहमियत मानी जाती है। शब-ए-बारात मुस्लिम समुदाय के लिए इबादत, फजीलत,र हमत और मगफिरत की रात मानी जाती है। इसीलिए तमाम मुस्लिम समुदाय के लोग इस रात को नमाज और कुरान पढ़ते हैं और अल्लाह तबारक व ताला से अपने गुनाहों की माफी मांगते हैं। शब-ए-बारात को लेकर सिवान जिले की जी.बी.नगर थाना क्षेत्र के तरवारा पुरानी बाजार स्थित जामा मस्जिद के कमेटी के सदस्यों द्वारा मस्जिद को दुल्हन की तरह सजाया गया है।रोशनी से जगमग इस मस्जिद में अंसारी मोहल्ला, इराकी मोहल्ला, साई मोहल्ला, बिसाती टोला, चूड़िहार पट्टी, समेत कई मोहल्ला के लोग आज पूरी रात इबादत कर अपने अपने गुनाहों की माफी मांगेंगे। तथा कब्र में लेटे अपने पूर्वजों के लिए भी रब्बुल आलमीन से दुआ करेंगे। उधर पचरुखी रोड स्थित जामिया बरकातीया अनवारूल उलूम के मदरसे के हाते में स्थित मस्जिद भी सज धज कर तैयार है। यहां भी क्षेत्र के कई हिस्सों के लोग पूरी रात जागकर इबादत करेंगे। इसके साथ ही क्षेत्र के काजीटोला अवस्थित दोनों मस्जिदें पूरी तरह सज-धज कर तैयार है।यहां के दोनों मस्जिदों में ग्रामीण पूरी रात जागकर अपने मगफिरत के लिए दुआ करेंगे।उधर चौकी हसन गांव स्थित मखदूम बाबा के मजार शरीफ पर जायरीनो का तांता लगा हुआ है।

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sona dada majar fakhruddinpur

लोग अपनी अपनी मुरादे लेकर मखदूम बाबा के मजार शरीफ पर फातेया पढ़कर दुआ मांग रहे हैं। इसके अलावा फखरुद्दीनपुर,बभनबारा शरीफ,पिपरा नारायण, डी.के.सारंगपुर, उसरी सारंगपुर, नौतन, मिश्रौलिया, शाहपुर, शाहगंज, सोनबरसा, सुरवाला, दीनदयालपुर, मोहम्मदपुर पट्टी, धराजपुर, सिकंदरपुर, कुडवा, रानीपुर बालापुर सदरपुर, तीनभेड़िया, लौआन, बड़हरिया, कर्बला बाजार, मुर्गिया टोला, सफी छपरा, नूरा छपरा, सफी छपरा, खानपुर, माधोपुर, छक्का टोला, लकड़ी दरगाह, बहुआरा, हबीबपुर, रघुनाथपुर,गुलरिया टोला,जोगापुर, जामो बाजार,समेत दर्जनों गांव स्थित मस्जिद को दुल्हन की तरह सजाया गया। इसके अलावा सिवान के रघुनाथपुर, बसंतपुर, गुठनी, दरौली, मैरवा , भगवानपुर, महाराजगंज, दारौंदा, पचरुखी लकडी नबीगंज आदि प्रखंडों के सभी मस्जिदों को दुल्हन की तरह सजाया गया है।जिला मुख्यालय सिवान शहर के सभी मस्जिदों को भी रोशनी से जगमग कर दिए गए हैं।

tarwara masjid

कई मस्जिदों के खतीबों इमाम एक से बढ़कर एक नातिया कलाम अपनी अपनी सुरीली आवाज में पेश कर रहे हैं। सिवान शहर स्थित सभी मजार शरीफ को भी दुल्हन की तरह सजाया गया है।

क्यों खास है शब-ए-बारात :

हिजरी कैलेंडर के अनुसार, शब-ए-बारात की रात हर साल में एक बार शाबान महीने की 14 तारीख को सूर्यास्त के बाद शुरू होती है।शब-ए-बारात का अर्थ है शब यानी रात और बारात यानी बरी होना। शब-ए-बारात का रात को इस दुनिया को छोड़कर जाने वाले अपने पूर्वजों की कब्रों में रोशनी और उनके लिए दुआ मांगी जाती है।इस्लामिक मान्यता के अनुसार इस रात को अल्लाह अपने चाहने वालों को हिसाब-किताब रखने के लिए आते हैं।इस दिन जो भी सच्चे मन से अल्लाह से अपने गुनाहों के लिए माफी मांगते हैं।अल्लाह उनके लिए जन्नत के दरवाजे खोल देता है।